रायपुर – केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा अधिकृत राज्य के अस्पतालों में गरीब और जरूरतमंद मरीजों को आयुष्मान योजना का लाभ नहीं मिलने का मामला सामने आया है।आपको बतला दें कि छ ग शासन द्वारा जारी स्मार्ट कार्ड, राशन कार्ड के तहत 50 हज़ार रुपए तक और आयुष्मान भारत योजना के तहत 5 लाख रु तक इलाज मुफ्त में करने का प्रावधान है लेकिन राज्य के कई अधिकृत अस्पतालों के संचालकों द्वारा इसका फायदा नहीं दे रहे हैं और मरीज की परिजनों से नगद राशि जमा करने को बाध्य किया जाता है ।
जब कि नर्सिंग होम के सामने स्पष्ट बोर्ड में लिखा रहता है कि हमारे यहां स्मार्ट कार्ड, राशन कार्ड और आयुष्मान योजना के तहत मुफ्त में ईलाज किया जाता है।बोर्ड को देखकर लोग मरीज को संबंधित अस्पताल में भर्ती करा दी जाती है और अस्पताल प्रबंधन द्वारा ईलाज शुरू कर दिया जाता है और उसके बाद कुछ ही घंटे बाद तुरंत 50 से 1 लाख रुपए तक जमा करने को कहा जाता है।जैसे ही मरीज के परिजन रकम जमा करते हैं उसके बाद प्रबंधन द्वारा स्मार्ट कार्ड, राशन कार्ड जमा करा लिया जाता है और यहीं से लूट की शुरुवात शुरू हो जाती है जब परिजन पूछते हैं कि डॉक्टर साहब हम लोग गरीब आदमी हैं इतनी भारी भरकम राशि नहीं दे सकते शासन द्वारा जो मुफ्त में ईलाज के लिए नियम बनाया गया है कृपया उसके तहत ईलाज कर दीजिए।आपके अस्पताल के सामने स्मार्ट कार्ड के मुफ्त में ईलाज किया जाता है का बोर्ड को देखकर आए हैं लेकिन प्रबंधन मुफ्त में ईलाज नहीं करने का साफ मना कर दिया जाता है।
ऐसा ही एक मामला बलौदा बाजार जिले के ब्लॉक बिलाईगढ,बिलासपुर(सरसीवा) सामने आया है।घटना 29 अप्रैल 2020 की है किशोर ऑटो बिलासपुर मोटर साइकिल रिपेयर का काम करता है एक दिन उसके कर्मचारी ने मोटर साइकिल की प्लग साफ कर रहा था अचानक उसी वक्त पुरषोत्तम पिता स्व भजोराम उम्र 21 साल आग से झुलस जाता है और 30 फीसदी जल जाता है जिसका ईलाज के लिए कालडा बर्न प्लास्टिक सर्जरी सेन्टर,पचपेड़ी नाका रायपुर में किशोर ने ईलाज के लिए भर्ती कराया उससे बाद अस्पताल प्रबंधन ने शुरू में 50 हज़ार रुपए जमा करने को बोला किशोर ने 50 हज़ार रुपए जमा कर देता है।किशोर ने डॉक्टर से पूछा की साहब ईलाज में कितना खर्च आएगी ??डॉक्टर ने कहा कि पुरुषोत्तम के ईलाज में करीब डेढ़ लाख रुपए तक खर्च आएगी 14 दिन अस्पताल में रखेंगे पूरी तरह ठीक हो जाएगा, कुछ राशि स्मार्ट कार्ड से काट लिया जाएगा।इसके बाद में किशोर ने कहा कि साहब मै बहुत गरीब हूं मेरे पास इतना पैसा नहीं है आयुष्मान योजना के तहत इनका ईलाज कर दीजिए उतने में डॉक्टर ने गुस्से में आकर कहा कि मै नहीं जानता तुमको ईलाज कराना है तो मुझे नगद राशि देना ही होगा।किशोर ने इसके बारे में विधायक कार्यालय बिलाईगढ़,कैबिनेट मंत्री शिव कुमार डहरिया के पीए द्वारा डॉक्टर से बात करवाना चाहा लेकिन किसी से भी बात करने से इंकार कर दिया।इसके बाद किशोर से डिस्चार्ज के समय प्रबंधन ने डेढ़ लाख रुपए नहीं बल्कि डबल रकम कुल 2 लाख 36 हज़ार रुपए लेे लिया उपर से पुरुषोत्तम अभी तक पूर्णतः ठीक नहीं हुआ है रोज स्थानीय डॉक्टर द्वारा ड्रेसिंग कराया जा रहा है।
इस संबंध में हमारे संवाददाता ने मरीज के परिजन बनकर डॉक्टर सुनील कालडा से बात की पढ़िए और गौर करिए उन्होंने क्या कहा?? संवाददाता सवाल(मोबाईल से) – डॉ काल्डा बोल रहे हैं।डॉक्टर जवाब – जी हां बर्न सेंटर से डॉ कल्डा बोल रहा हूं।संवाददाता – सर नमस्कार,डॉक्टर – नमस्कार।संवाददाता – साहब एक जला हुआ पेशेंट है आपके अस्पताल में ईलाज कराना चाहता हूं मरीज 30 से 40 फीसदी जला हुआ है कितना लगेगा।डॉक्टर – मरीज को अस्पताल लाएंगे तो देखकर बतला पाऊंगा।संवाददाता – सर आपके अस्पताल में स्मार्ट कार्ड,राशन कार्ड और आयुष्मान योजना के तहत मुफ्त में ईलाज होगा।डॉक्टर – हां बिल्कुल होगा लेे आईये।संवाददाता – कितना खर्च आएगी सर।डॉक्टर – मरीज को देखकर बतला पाऊंगा,शासन को हम मरीज की फोटो भेजकर स्वीकृति कराते हैं जितनी ऊपर से स्वीकृत मिलती है उतना आयुष्मान योजना से लाभ मरीज को मिलता है।डॉक्टर – ठीक है ले आइए।इसके बात डॉक्टर ने मोबाईल काट दिया।वहीं संदर्भ में बिलाईगढ बीएमओ डॉ सुरेश खूंटे ने बताया कि सभी बीमारियों का अलग अलग पैकेज के अनुसार राशि मिलती है पैकेज के अनुसार ही मरीज का ईलाज होता है।इस संबंध में छ ग बसपा के केंद्रीय प्रतिनिधी श्याम टंडन ने कहा कि केंद्र की बीजेपी और राज्य की कांग्रेस सरकार लोगों को ठगने का काम कर रही है,जब राशन कार्ड में 50 हज़ार रुपए तक और आयुष्मान भारत योजना के तहत 5 लाख रुपए तक का मुफ्त में ईलाज करने का फैसला लिया है और प्रावधान किया है तो इसका लाभ लोगों को मिलना चाहिए अन्यथा दोनों सरकार लोगों को बेवकूफ न बनाये,अस्पताल प्रबंधन ने कहा था की डेढ़ लाख लगेगा तो परिजन से उतनी ही राशि लेनी चाहिए और योजना के तहत मरीज का ईलाज करना चाहिए,जबरदस्ती लूट मचाने वाले अस्पताल को शासन ब्लैक लिस्ट में डालते हुए उन पर कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए।आपको बतला दें कि ऐसे ही बहुत लोगों के साथ कई अस्पताल प्रबंधन द्वारा दबाव बना कर पीड़ित मरीजों के परिजनों से लूट मचा रहे हैं।शासन प्रशासन ऐसे प्रंबधन पर कार्यवाही नहीं करने से अस्पताल प्रबंधनों का हौसला बुलंद होते जा रहा है और लोग लाखों रुपए के लूट के शिकार हो रहे हैं। कईयों को तो ऐसे अस्पताल प्रबंधन की वजह से अपना घर,जेवर,खेत,प्लॉट बेचना पड़ जाता है इसलिए हम ग्लोबल 36 गढ़ के माध्यम से लोगों को सचेत करना चाहते हैं कि कोई भी परिजन किसी अस्पताल में मरीज को भर्ती करने के पहले प्रबंधन से पूरी तरह से क्लियर बात कर लें अन्यथा किशोर जैसे ठगी और लूट का शिकार होना पड़ सकता हैं।इधर पीड़ित किशोर ने शासन प्रशासन से आयुष्मान योजना का लाभ देते हुए रकम वापस करने और अस्पताल प्रबंधन पर कड़ी कार्रवाई की मांग की है।