पंजीयन के अभाव में श्रमिकों को नही मिल पा रहा योजनाओं का लाभ।।जिला के श्रम अधिकारी नहीं ले रहे हैं सुध।।

Global36 गढ़ के संवाददाता नीलकांत खटकर।।

बलौदाबाजार – एक तरफ सरकार द्वारा गरीब मजदूरों के उत्थान के लिए तरह-तरह की जनकल्याणकारी योजनाएं चलाई जा रही है वहीं दूसरी ओर बलौदाबाजार जिले में श्रम विभाग के आला अफसर सरकारी योजनाओं पर पलीता लगाने में तुले हुए हैं। सरकारी नुमाइंदों को न तो श्रमिकों के कल्याण का फ़िक्र है न ही सरकार की छवि धूमिल होने की चिंता है। उन्हें चिंता है तो बस अपनी जेब कैसे गरम होगी। श्रमिकों के कल्याण के लिए शासन स्तर पर मुख्यमंत्री असंगठित कर्मकार एवं समाचार पत्र हॉकरों को साइकल सहायता , सिलाई मशीन सहायता योजना, कौशल उन्नयन योजना, सफाई कर्मकारों के बच्चों के लिए छात्रवृत्ति, विशेष कोचिंग सहायता, प्रसूति, विवाह, अंत्येष्टि सहायता योजना सहित दर्जनों योजनाएं भाजपा शासनकाल से संचालित की जाती रही है।

 

मगर इनमें से कई योजनाएं या तो बंद कर दी गई हैं या फिर जिला में बैठे श्रम विभाग के अधिकारियों की हठधर्मिता के चलते दम तोड़ती जा रही हैं । एक सामाजिक कार्यकर्ता ने बताया कि बलौदाबाजार जिले में श्रमिकों का पंजीयन नहीं होने से इन योजनाओं का लाभ श्रमिकों को नहीं मिल पा रहा है। कई बार पीड़ितों द्वारा इसकी शिकायत कलेक्टर से लेकर स्थानीय जनप्रतिनिधियों तक कर चुके हैं मगर इस ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। श्रम विभाग के माध्यम से श्रमिकों के कल्याण के लिए चलाई जा रही योजनाओं का सही क्रियान्वयन नहीं होने से हितग्राहियों को इसका लाभ नहीं मिल पा रहा है। जिसके चलते आम जनमानस में सरकार के प्रति अविश्वास का माहौल पनप रहा है। बिलाईगढ़ विकासखंड बलौदाबाजार जिला से दूरस्थ होने के चलते यहां के श्रमिकों तक शासन द्वारा चलाई जा रही योजनाओं को पहुंचने में काफी देर हो जाती है। यहां तक कि श्रम विभाग इन योजनाओं की सफलता के लिए ऐसी कोई जन जागरूकता नहीं चलाई जा रही है जिससे क्षेत्र के श्रमिकों को लाभ हो सके। असंगठित कर्मकार का पंजीयन नहीं होने से कई बार इन योजनाओं का लाभ नहीं मिल पाता और जागरूकता के अभाव में श्रमिक चाह कर भी इसका लाभ नहीं ले पाते । श्रमिकों का यह भी कहना है कि इन योजनाओं के लिए ब्लॉक स्तर पर कोई ऐसी कार्यालय भी संचालित नहीं हो रही है जिससे हितग्राही जाकर वहां अपनी शिकायत दर्ज करा सकें। तत्कालीन कलेक्टर जेपी पाठक ने 15 सितंबर 2018 को इसी आशय की जानकारी दी गई थी।जिसे श्रम विभाग की वेबसाइट पर अपलोड किया गया है। तत्कालीन कलेक्टर ने स्पष्ट रूप से कहा है कि शासन द्वारा संचालित सरकारी योजनाओं का लाभ लेने के लिए श्रम विभाग में पंजीयन होना अनिवार्य है। जिले के श्रमिकों को इन योजनाओं का लाभ अधिक से अधिक संख्या में जिले के श्रमिकों को मिल सके इसके लिए अधिकारियों से लेकर जनप्रतिनिधियों को सजग होना जरूरी है। अन्यथा ये सरकारी योजनाएं सिर्फ कागजों में सीमित रह जायेंगी।

Live Cricket Live Share Market

विडिओ  न्यूज जरूर देखे 

जवाब जरूर दे 

आप अपने सहर के वर्तमान बिधायक के कार्यों से कितना संतुष्ट है ?

View Results

Loading ... Loading ...

Related Articles

Back to top button
Close
Close